ब्राज़ील विमान हादसे में मारे गए यात्रियों की पहचान में जुटा प्रशासन

10 अगस्त 2024
ब्राज़ील विमान हादसे में मारे गए यात्रियों की पहचान में जुटा प्रशासन

ब्राज़ील में शुक्रवार को साओ पाउलो के पास एक भयावह विमान हादसा हुआ, जिसमें सभी 62 यात्रियों की मौत हो गई। इस घटना ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है और प्रशासन पूरी रात जुटकर हादसे में मारे गए लोगों के शवों की पहचान करता रहा। साओ पाउलो राज्य सरकार के अधिकारियों ने बताया कि अब तक 21 शव बरामद किए जा चुके हैं, जिनमें से दो की पहचान की जा चुकी है। बाकी शवों की पहचान के लिए उन्हें साओ पाउलो के पुलिस मुर्दाघर में भेजा गया है।

इस विमान में कुल 57 यात्री और चार क्रू मेंबर थे। हालांकि, शनिवार को क्षेत्रीय एयरलाइन वॉयपास ने पुष्टि की कि एक और यात्री का हिसाब नहीं हो पाया था, जिससे मरने वालों की संख्या 62 हो गई। दुर्घटना स्थल पर मौजूद दमकलकर्मी मायकोन क्रिस्टो ने बताया कि शवों की पहचान में उनके फिजिकल अट्रिब्यूट्स, दस्तावेज़ों और व्यक्तिगत चीज़ों जैसे मोबाइल फोन की मदद ली जा रही है। एकत्र किये गए सबूतों के बाद, उन्हें मलबे से निकाल कर जांच के लिए साओ पाउलो भेजा जा रहा है।

दुर्घटना के समय विमान कास्कवेल, पराना से साओ पाउलो की ओर जा रहा था। स्थानीय समयानुसार दुर्घटना 1:30 बजे (16:30 UTC) विन्हेडो में हुई, जो साओ पाउलो से 50 मील (80 किलोमीटर) उत्तर-पश्चिम में स्थित है। विमान एटीआर 72 था, जिसे फ्रैंको-इटैलियन निर्माता कंपनी एयरबस और लियोनार्डो ने मिल कर बनाया है। यह विमान पर्वतीय इलाकों और मध्यम दूरी की यात्रा के लिए जाना जाता है। कंपनी ने पुष्टि की कि उसके विशेषज्ञ इस घटना की जांच में पूरी तरह संलग्न हैं।

जनता को संबोधित करते हुए, ब्राज़ील के राष्ट्रपति लुइज इनासियो लूला दा सिल्वा ने दक्षिण ब्राज़ील में आयोजित एक कार्यक्रम में पीड़ितों की याद में मौन धारण करने का आग्रह किया।

शवों की पहचान के लिए पीड़ितों के परिवारों को साओ पाउलो बुलाया गया है, जहां उनसे जेनेटिक सैंपल लिये जायेंगे और डीएनए परीक्षण द्वारा शवों की पहचान की जाएगी। साओ पाउलो राज्य सरकार के सिविल डिफेंस कोऑर्डिनेटर हेंगुएल परेरा ने बताया कि इसके लिए शासन की तरफ से सभी आवश्यक सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं।

घटना के बारे में विस्तार से

विमान हादसे की घटना ने न केवल ब्राज़ील बल्कि पूरे विश्व को सदमे में डाल दिया है। विमान जिस समय दुर्घटनाग्रस्त हुआ, उस समय वह 12,000 फीट की ऊंचाई पर उड़ान भर रहा था। स्थानीय अधिकारियों ने बताया कि विमान की गति में अचानक कमी आई और वह तेजी से नीचे गिर गया। जांच में पाए गए प्रारंभिक संकेतों से पता चला है कि दुर्घटना का कारण मौसम की खराबी हो सकती है।

घटनास्थल पर राहत कार्य में जुड़े लोगों ने हादसे के दुखदायिनी दृश्य का वर्णन किया। दमकलकर्मी मायकोन क्रिस्टो ने कहा कि घटनास्थल पर मलबा चारों ओर फैला हुआ था और आसपास के पेड़-पौधे तक जलकर क्षतिग्रस्त हो चुके थे। हादसे की जांच जारी है और इसके परिणाम आने में समय लगेगा।

पीड़ितों के परिवारों की पीड़ा

विमान हादसे में अपने प्रियजनों को खो चुके परिवारजन एक गहरे सदमे में हैं। प्रशासन ने इन्हें हर संभव सहयोग देने का आश्वासन दिया है। हवाई अड्डे पर इंतजार कर रहे परिजन यादगार वस्त्र और छवियों के साथ खड़े थे, जबकि कुछ के आंखों में आंसू थम नहीं रहे थे।

हादसे के पीड़ितों की पहचान के लिए डीएनए टेस्ट और अन्य वैज्ञानिक तरीकों का इस्तेमाल किया जा रहा है। परिवारों को मदद और जानकारी उपलब्ध कराने के लिए हेल्पलाइन नंबर भी जारी किए गए हैं। सरकार ने शोक संतप परिवारों को मानसिक और भावनात्मक सहयोग भी प्रदान करने की बात कही है।

विमानन सुरक्षा की जांच

विमानन सुरक्षा की जांच

इस घटना ने विमानन सुरक्षा को लेकर बड़े सवाल खड़े कर दिए हैं। दो प्रमुख विमान निर्माता कंपनियों एयरबस और लियोनार्डो इस घटना की जांच कर रही हैं, ताकि इसकी सही वजहों का पता लग सके। विमान एटीआर 72 अपने रिकॉर्ड और विश्वसनीयता के लिए जाना जाता था, इसलिए इस घटना ने सबको हैरानी में डाल दिया है।

सुरक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि विमान के मेंटेनेंस और अन्य तकनीकी पहलुओं की जानकारी इकट्ठी करने के लिए एक गहन जांच प्रक्रिया अपनाई जाएगी। इस घटना के बाद से विमानन क्षेत्र के अनेक दिग्गज भविष्य में ऐसी घटनाओं से बचने के लिए सख्त कदम उठाने की मांग कर रहे हैं।

आशंका और अनुमति

इस हादसे के कारण अनेक यात्राओं को रद्द किया जा रहा है और विमान से सफर करने वाले यात्री सुरक्षा को लेकर कश्मीर और असामंजस्य की स्थिति में हैं। एयरलाइनों ने भी इस घटना को ध्यान में रखते हुए अपने सुरक्षा मानकों को और भी सुदृढ़ बनाने के लिए नई योजनाएं बनानी शुरू कर दी हैं।

राष्ट्रपति लुइज इनासियो लूला दा सिल्वा ने कहा कि प्रशासन इस दुखद हादसे की जांच के लिए हर संभव कदम उठा रहा है। उन्होंने इस मामले को लेकर संसद में भी चर्चा करने का संकेत दिया है, ताकि भविष्य में ऐसी त्रासदी से बचा जा सके।

अन्ततः, सरकार, एयरलाइन और दुर्घटना जांच टीमों के सामने कुछ कठिन चुनौतियां हैं, जिन्हें हल्के में नहीं लिया जा सकता। हादसे के पीड़ितों के प्रति हमारी संवेदनाएं और उनकी आत्माओं की शांति के लिए हमारी प्रार्थनाएं हमेशा के लिए तीव्र हैं।